परीक्षा प्रारंभ होने के 01 घंटा पूर्व यथा पूर्वा 11 बजे के बाद किसी भी परीक्षार्थी को परीक्षा केंद्र में प्रवेश की अनुमति नहीं होगी, जिला के 25 परीक्षा केंद्रों पर 30 सितंबर को एकल पाली में दोपहर 12 बजे से होगी परिक्षा, सफल संचालन हेतु जिलाधिकारी बेगूसराय ने प्रतिनियुक्त पदाधिकारियों को दिया निर्देश।
डीएनबी भारत डेस्क
बेगूसराय जिलाधिकारी रौशन कुशवाहा एवं जिला पुलिस कप्तान योगेंद्र कुमार द्वारा संयुक्त रूप से बिहार लोक सेवा आयोग पटना द्वारा 30 सितंबर (शुक्रवार) को दोपहर 12 बजे से अपराहन 2 बजे तक जिले के 25 परीक्षा केंद्रों पर एकल पाली में आयोजित 67वीं संयुक्त (प्रारंभिक) प्रतियोगिता पुनर्परीक्षा- 2022 के सफल संचालन हेतु प्रतिनियुक्त पदाधिकारियों, स्टैटिक दंडाधिकारियों, जोनल दंडाधिकारी सह गश्ती दंडाधिकारी, उड़नदस्ता दल, केंद्राधीक्षक एवं संबंधित पुलिस पदाधिकारियों की कारगिल विजय सभा भवन में आवश्यक दिशा-निर्देश दिये।
पदाधिकारियों को संबोधित करते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि यह परीक्षा राज्य के लिए अति प्रतिष्ठापूर्ण परीक्षा है अतः परीक्षा स्वच्छ, कदाचारमुक्त एवं शांतिपूर्ण तरीके से हो, इसकी पूरी जिम्मेदारी जिला प्रशासन की है। इस क्रम में उन्होंने कहा कि यह परीक्षा अत्यंत ही संवेदनशील है इसलिए सभी प्रतिनियुक्त पदाधिकारी, पुलिस पदाधिकारी आयोग से प्राप्त निर्देशों के आलोक में अपने-अपने कर्तव्यों एवं उत्तरदायित्वों का गंभीरतापूर्वक निर्वहन करते हुए कदाचारमुक्त परीक्षा संपादित करने में अपनी भूमिका का निर्वाहन करेंगे।
उन्होंने कहा कि आयोग की परीक्षाओं में बिहार परीक्षा नियंत्रण अधिनियम-1981 लागू है। उक्त अधिनियम की धारा में निहित प्रावधान के अधीन केंद्राधीक्षक, वीक्षक, स्टैटिक दंडाधिकारी के कदाचार में संलिप्त पाए जाने की स्थिति में उन पर विधिसम्मत कार्रवाई की जाएगी। इसी क्रम में उन्होंने सभी संबंधित पदाधिकारियों को परीक्षार्थियों के फ्रीस्किंग का कार्य गंभीरता से करने, परीक्षा केंद्रों के आसपास परीक्षा अवधि तक लागू धारा-144 का गंभीरता से अनुपालन सुनिश्चित कराने, परीक्षा केंद्रों के आसपास दुकानों विशेष तौर पर स्टेशनरी, फोटोकॉपी से संबंधित दुकानों का निश्चित रूप से बंद रखे जाने का निर्देश दिया ताकि कदाचार की किसी भी संभावना को खत्म किया जा सके। उन्होंने परीक्षा कक्ष में किसी भी परिस्थिति में मोबाइल फोन नहीं रखे जाने को भी सुनिश्चित करने का निर्देश दिया। इस दौरान जिला पदाधिकारी ने परीक्षा संचालन के संबंध में आयोग से प्राप्त विभिन्न महत्वपूर्ण निर्देशों की जानकारी विस्तारपूर्वक दी, जो निम्नवत है-
परीक्षा प्रारंभ होने के 01 घंटा पूर्व यथा पूर्वा 11 बजे के बाद किसी भी परीक्षार्थी को परीक्षा केंद्र में प्रवेश की अनुमति नहीं होगी। सभी परीक्षार्थी परीक्षा केंद्र में प्रवेश के बाद अविलंब अपने आवंटित कक्ष में प्रवेश करेंगे तथा किसी भी परिस्थिति में 11 बजे पूर्वा. से परीक्षा समाप्ति तक अपना कक्ष नहीं छोड़ेंगे। वैसे अभ्यर्थी जिन्होंने अपने आवेदन में अपनी पहचान हेतु आधार कार्ड दिया है, उन्हें परीक्षा केंद्र में अनिवार्य रूप से आधार कार्ड लाना होगा अन्यथा परीक्षा में भाग लेने की अनुमति नहीं दी जाएगी। जिन अभ्यर्थी ने आवेदन में अपनी पहचान हेतु आधार कार्ड नहीं दिया है, उनके लिए भी यह श्रेयस्कर होगा कि यथासंभव आधार कार्ड ही लाएं। जिन अभ्यर्थियों द्वारा आधार कार्ड उपलब्ध नहीं कराया जाएगा, उनसे पहचान पत्र की स्वभि-प्रमाणित छायाप्रति एवं अद्यतन फोटोग्राफ प्राप्त करते हुए अनुक्रमाक को परीक्षार्थियों की निगरानी सूची में दर्ज किया जाएगा।
परीक्षार्थियों को ई-एडमिट कार्ड, फोटो आईडी, नीला, काला बॉल पेन एवं फोटो के अतिरिक्त कोई भी सामग्री परीक्षा केंद्र में ले जाना वर्जित होगा। किसी भी परीक्षार्थी को परीक्षा कक्ष में कैलकुलेटर, मोबाईल, ब्लूटूथ, वाई-फाई गैजेट, इलेक्ट्रॉनिक पेन, पेजर, रिस्ट वाच (सामान्य, स्मार्ट) इत्यादि जैसे इलेक्ट्रॉनिक सामग्री तथा व्हाइटनर, इरेजर एवं ब्लेड जैसी सामग्री ले जाने की अनुमति नहीं होगी। किसी भी परीक्षार्थी के पास उक्त सामग्री पाए जाने की स्थिति में उनकी उम्मीदवारी रद्द कर दी जाएगी एवं तद्नुसार वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।
सभी केंद्राधीक्षक सुनिश्चित कराएंगे कि सभी परीक्षा कक्ष में दीवाल घड़ी लगा हो। इसके साथ ही सभी केंद्राधीक्षकों को परीक्षा केंद्र पर मोबाईल जैमर की अधिष्ठापन हेतु समुचित विदयुत व्यवस्था प्रत्येक परीक्षा कक्ष में करने के साथ-साथ परीक्षा केंद्र के शौचालय या अन्य स्थान, जिसका उपयोग परीक्षार्थियों द्वारा किया जाएगा, को जैमर से आच्छादित करने का निर्देश दिया गया। उन्होंने केंद्राधीक्षकों, स्टैटिक दंडाधिकारी-सह-प्रेक्षक को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि जैमर पूर्वा 11 बजे से अप. 2 बजे तक कार्यरत हो।
इसी क्रम में उन्होंने बताया कि यदि किसी उम्मीदवार द्वारा बिहार परीक्षा संचालन अधिनियम-1981 के किसी उपबंध का उल्लंघन करते हुए पाया जाता है, तो उसके विरूद्ध नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। पररूपधारण, किसी अन्य व्यक्ति को अपने स्थान पर बैठाना, स्वयं फर्जी नाम से अथवा किसी अन्य अभ्यर्थी के स्थान पर परीक्षा देना दंडनीय अपराध है। ऐसे फर्जी परीक्षार्थियों को केंद्राधीक्षक स्थानीय थाना को स्टैटिक, जोनल दंडाधिकारी की सहायता से सुपुर्द करते हुए उनके विरुद्ध आपराधिक धाराओं में कांड दर्ज कराएंगे। इसी क्रम में केंद्राधीक्षक को पररूपधारण रोकने हेतु प्रत्येक परीक्षा केंद्रों पर वीडियोग्राफी की व्यवस्था कराने का निर्देश दिया गया है। साथ ही निर्देशित किया गया है कि परीक्षा कक्ष में पूर्वा. 11.00 बजे से 11.30 बजे के बीच वीक्षक पुनः परीक्षार्थियों का फ्रीस्किंग कर आश्वस्त हो लेंगे कि उनके पास कोई वर्जित सामग्री नहीं है।