बेगूसराय में टीईटी,एसटीईटी उतीर्ण शिक्षकों का तीसरा दिन भी अनिश्चितकालीन अनशन जारी

एनआइओएस प्रशिक्षित शिक्षकों का पूर्व की भांति वेतन एवं एरियर का भुगतान करने, 15% वेतन वृद्धि उपरांत लंबित बकाये वेतन का अविलंब भुगतान की आदि मांग

डीएनबी भारत डेस्क

बेगूसराय में विभिन्न मांगों के समर्थन में TET,STET उतीर्ण शिक्षकों का आज तीसरा दिन भी दिन अनिश्चितकालीन अनशन जारी है। इसको लेकर शिक्षकों में सरकार के खिलाफ काफी आक्रोश देखी गई और इस दौरान शिक्षकों ने बिहार सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की गई साथी साथ शिक्षा मंत्री का पुतला जलाकर जमकर विरोध प्रदर्शन किया। यह अनिश्चितकालीन अनशन हड़ताली चौक पर शिक्षकों के तीसरे दिन भी जारी है।

 

इस दौरान आंदोलनकारी शिक्षकों का कहना है कि एनआइओएस प्रशिक्षित शिक्षकों का पूर्व की भांति वेतन एवं एरियर का भुगतान करने, 15% वेतन वृद्धि उपरांत लंबित बकाये वेतन का अविलंब भुगतान, नवगठित नगर निकाय के आठ किलोमीटर की परिधि में अवस्थित विद्यालयों के शिक्षकों को शहरी आवास भत्ता का भुगतान करने, नवनियुक्त शिक्षकों के सेवापुस्त संधारण के लिए स्पष्ट दिशानिदेश जारी कर प्रखंडवार कैंप की तिथि निर्धारण की मांग समेत स्थानीय शिक्षक समस्याओं को लेकर जिले के टीइटी शिक्षकों ने आज तीसरे दिन भी अनिश्चितकालीन अनशन पर बैठे हुए हैं।

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लेकिन सरकार इस पर कोई ध्यान नहीं दे रही है जिसके कारण शिक्षकों में और खासा आक्रोश भी की जा रही है इस दौरान शिक्षकों ने बताया कि होली से पहले शिक्षकों को भुगतान करें अगर ऐसा नहीं होगा कि आंदोलन लगातार जारी रहेगा। इस दौरान टीइटी शिक्षकों का कहना है कि टीइटी शिक्षकों के साथ विभागीय भेदभाव बंद होना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि एनआइओएस प्रशिक्षित शिक्षकों के साथ विभाग का व्यवहार भेदभावपूर्ण है |

प्राथमिक शिक्षा निदेशक बिहार सरकार ने माननीय उच्च न्यायालय पटना द्वारा जारी न्यायादेश के हवाले से विभागीय आदेश निकालकर 31 मार्च 2019 के बाद प्रशिक्षित शिक्षकों को नवनियुक्त मानते हुए वेतन के पुनर्निर्धारण की बात कही है | यह विभागीय आदेश न केवल पटना उच्च न्यायालय के निर्णय की मनमानी व्याख्या है। बल्कि केंद्रीय शिक्षा विभाग और राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद के मानकों पर ससमय प्रशिक्षित एनआइओएस प्रशिक्षित शिक्षकों के साथ साजिश भी है | दस वर्षों से सेवारत शिक्षकों को नवनियुक्त घोषित करने की बात प्राकृतिक न्याय की मूल भावना के खिलाफ है |

विभाग विरमन तिथि से ग्रेड पे देने के न्यायादेश के खिलाफ एलपीए में चली जाती है। जबकि अताउर रहमान बनाम बिहार सरकार मामले में माननीय‌ उच्च न्यायालय के फैसले की अपने हिसाब से व्याख्या करती है। उन्होंने सरकार से मांग की है कि अगर सरकार टीईटी शिक्षकों पर  ध्यान नहीं दिए तो यह आने वाला समय पर सभी शिक्षक को एकत्रित होकर उग्र आंदोलन करने को विवश होंगे जिसकी जवाबदेही सरकार की होगी

बेगूसराय संवादाता सुमित कुमार बबलू की रिपोर्ट

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