राजद का घोषणा पत्र झूठ का पुलिंदा… सेतु ने कहा ‘राजद जनता को वादों के जाल में फंसाने की कर रही कोशिश’

डीएनबी भारत डेस्क 

शनिवार की सुबह राजद ने लोकसभा चुनाव को लेकर अपना घोषणा पत्र जारी किया। राजद के घोषणा पत्र जारी करने के बाद एनडीए के नेताओं की तरफ से एक से एक बयान आना शुरू हो गया। एनडीए के अधिकतम नेताओं ने राजद नेताओं ने खयाली पुलाव बताया। इसी कड़ी में जदयू के मीडिया पैनलिस्ट और महासचिव ओम प्रकाश सेतु ने राजद के घोषणा पत्र को झूठ का पुलिंदा बताया है।

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सेतु ने कहा कि जनता अब राजद और लालू यादव के किसी भी वादा पर विश्वास नहीं करती है। उन्होंने कहा कि राजद ने अपने घोषणा पत्र की सारी बातें मतदाताओं को अपने जाल में फंसाने के लिए लिखी है लेकिन अब बिहार की जनता उनकी बातों में नहीं आने वाली है। सेतु ने तेजस्वी यादव को सवालों के कटघरे में खड़ा करते हुए उनसे 24 वचन की जगह 24 सवालों का जवाब जनता की ओर से मांगा है।

तेजस्वी लोगों को बताएं कि, डेढ दशक तक बिहार में उनके पिता लालू प्रसाद और माता राबड़ी देवी का राज रहा, उस समय बिहार की कानून -व्यवस्था की क्या स्थिति थी, उस दौरान कितने नरसंहार हुए, लोग शाम ढलते ही घरों से बाहर क्यों नहीं निकलते थे। सड़क और बिजली की क्या हालत थी? अभी वे युवाओं को एक करोड़ रोजगार का सपना दिखा रहे है, लालू-राबड़ी शासनकाल में कितने युवाओं को रोजगार मुहैया कराए गए। यह भी बताएं कि काफी कम उम्र में तेजस्वी अरबों के मालिक कैसे बन गए। झोपड़ी से अचानक बाहर आकर लालू परिवार महलों, मॉल, अट्टालिकाओं और बड़े -बड़े भूखंडों का स्वामी कैसे बन गया।

नीतीश सरकार में मंत्री रहते उनके विभागों में हुए भ्रष्टाचार और बहाली में अनियमितता की जांच चल रही है। इस पर तेजस्वी क्या कहेंगे? उनके पिता लालू प्रसाद कांग्रेस की अगुआई वाली केन्द्र सरकार में मंत्री रहते बिहार को विशेक दर्जा या स्पेशल पैकेज क्यों नहीं दिला पाए। जमीन लेकर नौकरी देने वाला परिवार आज फिर नौकरी के नाम पर गरीबों को झांसा दे रहा है।

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