डीएनबी भारत डेस्क
राजधानी पटना में स्थित महावीर मंदिर पूरे देश में विख्यात है और इसकी महिमा के साथ ही समाज सेवा के कार्य की भी लोग महिमामंडन करते नहीं थकते हैं लेकिन अब महावीर मंदिर को लेकर इस बार एक विवाद सामने आया है। विवाद महावीर मंदिर के संचालक आचार्य किशोर कुणाल और अयोध्या के हनुमानगढ़ी के बीच शुरू हुआ है। हालांकि यह विवाद पहले भी हो चुका है लेकिन बात दब जाती थी। अब एक बार फिर अयोध्या के हनुमानगढ़ी अखाड़ा ने आचार्य किशोर कुणाल पर हनुमानगढ़ी के महंतों को महावीर मंदिर से निकालने और महावीर मंदिर की जमीन समेत अन्य संपत्ति हड़पने का आरोप लगाया है।
इसको लेकर हनुमानगढ़ी में तीनों अनी अखाड़ों की बैठक बुलाने का एलान किया है। इस बैठक में हनुमानगढ़ी के संत सीबीआई और ईडी से मामले की जांच कराने की मांग उठाएंगे। फिलहाल इस बैठक की तिथि निर्धारित नहीं की गई है। महावीर मंदिर के पूर्व महंत महेंद्र दास ने हनुमानगढ़ी में तीनों अनी अखाड़ों की बैठक होने की पुष्टि की है। हनुमानगढ़ी का हमेशा से दावा रहा है कि निर्मोही अनी अखाड़ा, दिगंबर अनी अखाड़ा और निर्वाणी अनी अखाड़ा की स्थापना करने वाले जगतगुरु बलानंदा ने ही पटना में महावीर मंदिर की भी स्थापना की थी और मंदिर में स्थापित दोनों प्रतिमाएं भी जगतगुरु बालानंद के समय की ही हैं। दावा है कि महावीर मंदिर का संचालन अयोध्या हनुमानगढ़ी के जरिए ही होता रहा है। अब इस मामले में तीनों अखाड़ा बैठक कर सामूहिक निर्णय लेंगे।