डीएनबी भारत डेस्क
प्रशिक्षण तभी सफल माना जाएगा जब शिक्षक अपनी कक्षा में शिक्षार्थियों को नई शिक्षा नीति के तहत बच्चे को उनकी विशिष्ट क्षमताओं की पहचान कराएंगे और उनके विकास हेतु सतत प्रयास जारी रखेंगे। उक्त बातें डीएवी कॉलेज मैनेजिंग कमिटी नई – दिल्ली के अंतर्गत डीएवी सेंटर एकेडमी एक्सिलेंस द्वारा डीएवी पब्लिक स्कूल, एचएफसी बरौनी में बेगूसराय रीजनल सेंटर से निर्धारित डीएवी एचएफसी बरौनी में आयोजित दो दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला में बेगुसराय जोन-डी के आठ डीएवी विद्यालयों के गणित के प्राथमिक स्तर, उच्चतर प्राथमिक स्तर माध्यमिक स्तर एवं उच्चतर माध्यमिक स्तर व विज्ञान में प्राथमिक स्तर एवं मध्य स्तर के शिक्षक –शिक्षिकाओं को संबोधित करते हुए समापन समारोह में बेगुसराय, जोन-डी के सहायक क्षेत्रीय पदाधिकारी सह प्रशिक्षण संयोजक कमल किशोर सिन्हा ने व्यक्त किया।
डीएवी इटवा नगर के प्राचार्या सह कलस्टर हेड सविता ने कहा कि नई शिक्षा नीति में बुनियादी साक्षरता संख्या ज्ञान को प्राथमिकता दी जाए, जिससे सभी बच्चे कक्षा तीन तक साक्षरता और संख्या ज्ञान सीख सकें। वहीं डीएवी सीएई नई – दिल्ली से प्रशिक्षित प्राप्त ग्यारह प्रशिक्षकों ने विज्ञान के 21 एवं गणित के 44 शिक्षक-शिक्षिकाओं को नई शिक्षा नीति के तहत प्रशिक्षण दिया। इस प्रशिक्षण में प्रशिक्षकों द्वारा विभिन्न क्रियाकलाप जैसे – संख्या आधारित विभिन्न पशुओं का चित्रांकन, अनेक विज्ञान के घोल एवं विज्ञान के प्रतिक्रिया आदि को प्रदर्शित कराया गया। दूसरे दिन शिक्षको को पांच-पांच समूहों बांटकर अनेक क्रियाकलाप करके मूल्यांकन हेतु प्रशिक्षकों के सामने प्रस्तुत करने को कहा गया। शिक्षको द्वारा किए गए कि क्रियाकलाप में नई शिक्षा नीति में कक्षा कक्ष में कैसे शिक्षार्थियों को लाभान्वित किया जाए इस पर विशेष रुप से प्रकाश डाला गया।
आगत अतिथियों का धन्यवाद ज्ञापित करते हुए डीएवी एचएफसी बरौनी के प्राचार्य सुमंत घोष ने कहा कि नई शिक्षा नीति का विजन भारतीय मूल्यों से विकसित शिक्षा प्रणाली है जो सभी को उच्चतर गुणवत्ता शिक्षा उपलब्ध कराके भारत को वैश्विक ज्ञान महाशक्ति बनाकर एक जीवन्त और न्याय संगत ज्ञान समाज में बदने के लिए प्रत्यक्ष रुप से योगदान करेगी। इस तरह के प्रशिक्षण आगे भी शिक्षकों को दी जाएगी। भारत की नई शिक्षा नीति शिक्षकों का संकाय को सीखने की प्रक्रिया का केन्द्र माना है। इस अवसर पर विद्यालय के शिक्षक भूपेन्द्र शाही, सुप्रिया कुमारी, प्रीति कुमारी, हेमन्त कुमार मिश्रा, अम्बुज कुमार, के एम ठाकर, बबलू कुमार, दिलीप कुमार शुक्ला, अशोक कुमार सहित अन्य मौजूद थे।
बरौनी, बेगूसराय से धर्मवीर कुमार