‘जनता के दरबार में मुख्यमंत्री कार्यक्रम में शामिल हुए मुख्यमंत्री, 49 लोगों की सुनी समस्यायें, अधिकारियों को दिए आवश्यक दिशा निर्देश
डीएनबी भारत डेस्क
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आज 4 देशरत्न मार्ग स्थित मुख्यमंत्री सचिवालय परिसर में आयोजित ‘जनता के दरबार में मुख्यमंत्री कार्यक्रम में शामिल हुए। ‘जनता के दरबार में मुख्यमंत्री’ कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने राज्य के विभिन्न जिलों से पहुंचे 49 लोगों की समस्याओं को सुना और संबंधित विभागों के अधिकारियों को समाधान के लिए समुचित कार्रवाई के निर्देश दिए। आज ‘जनता के दरबार में मुख्यमंत्री कार्यक्रम में सामान्य प्रशासन विभाग, स्वास्थ्य विभाग, शिक्षा विभाग, समाज कल्याण विभाग, पिछड़ा एवं अति पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग, वित्त विभाग, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति कल्याण विभाग, अल्पसंख्यक कल्याण विभाग, विज्ञान एवं प्रावैधिकी विभाग, सूचना प्रावैधिकी विभाग, कला, संस्कृति एवं युवा विभाग, श्रम संसाधन विभाग तथा आपदा प्रबंधन विभाग से संबंधित मामलों पर सुनवाई हुयी।
‘जनता के दरबार में मुख्यमंत्री कार्यक्रम में किशनगंज जिला से आए एक व्यक्ति ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि उनके पुत्र को मस्कुलर डिस्ट्रॉफी नामक गंभीर बीमारी है, इसके लिए इलाज की कोई व्यवस्था की जाए। जब इस संदर्भ में मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य विभाग से पूछताछ की तो पता चला कि फरियादी के अकाउंट में सहयोग की राशि 6 लाख रुपये निर्गत की जा रही है। फरियादी ने इस पर मुख्यमंत्री का आभार जताया। सुपौल जिला से आए एक व्यक्ति ने मुख्यमंत्री से गुहार लगते हुए कहा कि उनके पंचायत में जो उत्क्रमित उच्च विद्यालय बना था वह वर्ष 2019 में कोसी नदी के कटाव में विलीन हो गया। मुख्यमंत्री ने संबंधित विभाग को निर्देश दिया कि जांचकर जल्द स्कूल का निर्माण करायें।
बांका जिला से आयी एक महिला ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि आंगनबाड़ी सेविका की बहाली में अनियमितता हुयी है। प्रथम स्थान होने के बावजूद मेरा चयन नहीं करके तीसरे स्थान पर की महिला का चयन कर लिया गया है। मुख्यमंत्री ने समाज कल्याण विभाग को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया। बांका जिला से आयी एक महिला ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि कमर से नीचे दिव्यांग हैं, मुझे बैट्री चालित मोटराइज्ड ट्राई साइकिल उपलब्ध करायी जाए, ताकि मैं अपने कार्यों को आसानी से कर सकूँ। मुख्यमंत्री ने समाज कल्याण विभाग को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
मधेपुरा जिला से आए एक फरियादी ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि आपके द्वारा तीन साल पहले कोसी और सीमांचल के लोगों को ध्यान में रखते हुए जननायक कर्पूरी ठाकुर चिकित्सा महाविद्यालय और अस्पताल बनाया गया। विशेषज्ञ चिकित्सकों की यहां बहाली की जाय ताकि लोगों का और बेहतर ढंग से इलाज हो सके। मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य विभाग को निर्देश देते हुए कहा कि इस पर उचित कार्रवाई करें। मधेपुरा जिला से आए एक छात्र ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि वर्ष 2015 में मैट्रिक की परीक्षा प्रथम श्रेणी से उतीर्ण हुए थे। प्रोत्साहन राशि आज तक नहीं मिल पायी है। मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग को जांचकर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
मुजफ्फरपुर से आयी एक लड़की ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुये कहा कि 2018 में हमने स्नातक उत्तीर्ण किया है लेकिन अब तक मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना का लाभ मुझे नहीं मिला है। मुझे जल्द राशि उपलब्ध करायी जाये, ताकि मैं आगे की पढ़ाई कर सकूँ। मुख्यमंत्री ने संबंधित विभाग को इस पर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया । अरवल जिला से आयी एक महिला ने आंगनबाड़ी में नियोजन में अनियमितता की शिकायत की तो वहीं बेगूसराय जिला से आयी एक महिला ने आंगनबाड़ी सेविका की चयन प्रक्रिया में अनियमितता के संबंध में शिकायत की। मुख्यमंत्री ने संबंधित विभाग को इस पर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
जनता के दरबार में मुख्यमंत्री कार्यक्रम में वित्त सह संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी, समाज कल्याण मंत्री मदन सहनी, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति कल्याण मंत्री संतोष कुमार सुमन, विज्ञान एवं प्रावैधिकी मंत्री सुमित कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, मुख्य सचिव आमिर सुबहानी, पुलिस महानिदेशक एस के सिंघल, संबंधित विभागों के अपर मुख्य सचिव / प्रधान सचिव / सचिव, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव डॉ एस सिद्धार्थ, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, मुख्यमंत्री के विशेष कार्य पदाधिकारी गोपाल सिंह, पटना के जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह तथा वरीय पुलिस अधीक्षक मानवजीत सिंह ढिल्लो उपस्थित थे।